आती है याद उनकी, जैसे ही शाम ढलती है !
रोता है दिल, जब सितारों की शमा जलती है !
हर आहट पे चोंक जाता है ये बेक़रार दिल,
जब आँगन के पार, ज़रा सी भी हवा चलती है !
कौन है वो ये सच है या फिर #सपना है कोई,
क्यों #दिल की धड़कन, उसे अपना समझती है !
ये #प्यार है या दिल का कोई धोखा है दोस्तो,
अनजान के लिए ये रूह, क्यों इतना तड़पती है !
अपने दर्दे दिल से अब सिहरने लगा हूँ मैं
खुद की ही खोदी कब्र में गिरने लगा हूँ मैं
बहुत ख्वाब देखे सब को अपना बनाने के
पर लोगों की हक़ीक़त समझने लगा हूँ मैं
अपनों की बेरुखी अब संभलती नहीं यारो
अब तो मोहब्बतों से भी सहमने लगा हूँ मैं
दिली ख्वाहिशे तो मर चुकी है अब दोस्तो
अब चाहतों की गलियों से बचने लगा हूँ मैं
जिसने भी चाहा सिर्फ मतलब के लिए,
अब लोगों की असलियत परखने लगा हूँ मैं
ज़िंदगी का ये #सफर, तमाम अब होने को है
गुज़र गया ये दिन भी, शाम अब होने को है
बहुत दौड़ा हूँ मैं इन पथरीली राहों पे दोस्तो,
लगता है आंसुओं को, आराम अब होने को है
जायेगा छूट पीछा दुनिया के रंजोगम से अब,
हर शख्स को, आखिरी सलाम अब होने को है
बहुत #दिल दुखाया है लोगों ने बन कर अपना,
खुदाया उनका इंतक़ाम, तमाम अब होने को है
सोचा न था कि होगी ऐसे बसर ज़िन्दगी,
लो अच्छा हुआ कि पूरा, इंतज़ाम अब होने को है
आज क्यों हैं ये आंसू यूं छलछलाते हुए
गुज़र गयीं मुद्दतें किसी को भुलाते हुए
उधर खाली पड़ी हैं पगडंडियां दूर तलक
बस चल रहे हैं अकेले हम लड़खड़ाते हुए
वो #वक़्त वो समां तो कब का गुज़र गया
बस जल रहे हैं कुछ दीये टिमटिमाते हुए #ज़िन्दगी की शाम है अब सोचना है क्या
बस गुज़रते जा रहे हैं #लम्हें सनसनाते हुए
आती हैं जब कभी याद वो शहनाइयां ,
बस गुज़र जाते हैं कुछ पल गुनगुनाते हुए...
हम तो तेरे दिल में फूल खिलाने चले आये
तेरे ग़मों को अपने दिल में बसाने चले आये
अफ़सोस तोड़ दिया तूने मेरे दिल का भरम
खुदाया हम तो अपनी जान लुटाने चले आये
न कर बेवफाई इतनी इस नादान दिल से तू
हमतो इसकी खातिर हस्ती मिटाने चले आये #दिल के कोने में पड़ी तेरी सभी यादें समेंट कर
हम तो तुझे तेरी ही तस्वीर दिखाने चले आये
तेरे दिल में क्या है #दोस्त ये तो बस ख़ुदा जाने
मगर हम तो बस यूं ही तुझे आजमाने चले आये